नई दिल्ली, 4 अगस्त (हि.ला.)। ब्रिटेन के हाउस ऑफ कॉमन्स की डेप्युटी स्पीकर सुश्री नुसरत गनी ने सोमवार को नई दिल्ली स्थित संसद भवन में राज्यसभा के उपसभापति हरिवंश से भेंट की। बातचीत के दौरान, दोनों पीठासीन अधिकारियों ने भारत और ब्रिटेन के बीच विभिन्न क्षेत्रों में द्विपक्षीय संबंधों को सुदृढ़ करने के साथ-साथ नियमित रूप से संसदीय आदान-प्रदान को प्रोत्साहित करने पर विचार-विमर्श किया। दोनों ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की यूके की सफल यात्रा, जिसके दौरान ऐतिहासिक भारत-ब्रिटेन व्यापक आर्थिक एवं व्यापार समझौते (इंडिया-यूके कॉम्प्रीहेंसिव इकोनोमिक & ट्रेड एग्रीमेंट) (सीईटीए) पर हस्ताक्षर किए गए थे, के परिप्रेक्ष्य में यह विश्वास व्यक्त किया कि आने वाले समय में द्विपक्षीय व्यापार में उल्लेखनीय वृद्धि होगी।
डेप्युटी स्पीकर सुश्री गनी, कृत्रिम बुद्धिमत्ता संबंधी संसदीय संचालन समूह में की अध्यक्ष होने के नाते, भारतीय संसद में एआई के अनुप्रयोग का अध्ययन करने के उद्देश्य से भारत दौरे पर आई हैं। अपने संबोधन में, उपसभापति हरिवंश ने कहा कि भारत और यूनाइटेड किंगडम, अपने लोकतांत्रिक शासन के साझा इतिहास, समान मूल्यों एवं अटूट प्रतिबद्धता के साथ, वैश्विक स्तर पर संसदों हेतु जवाबदेह प्रौद्योगिकी अवसंरचना के निर्माण में संयुक्त रूप से नेतृत्वकारी भूमिका निभाने की अनूठी स्थिति में हैं।
एआई के महत्व पर ज़ोर देते हुए उन्होंने कहा, "संसदीय संदर्भ में, कृत्रिम बुद्धिमत्ता एक परिवर्तनकारी साधन है जो सदस्यों को उनके उत्तरदायित्वों को ज्यादा कारगर ढंग से निभाने, विधायी समर्थन में सुधार लाने और बेहतर शासन को सुगम बनाने में सहायता करता है। हम अपने कर्मचारियों के लिए एआई उपकरणों का प्रभावी ढंग से उपयोग करने हेतु नियमित रूप से विशेषज्ञ सत्र और कौशल विकास कार्यक्रम भी आयोजित करते हैं। हमने डिजिटलीकरण और कृत्रिम बुद्धिमत्ता के उपयोग में बहुत अधिक कार्य किया है। आगामी महीनों और वर्षों में, इस संस्थान को नागरिकों के लिए और अधिक सुलभ बनाने के लिए कई और नवीन कार्यप्रणालियाँ आरंभ की जाएँगी।"
अपने संबोधन में, सुश्री गनी ने संसद में एआई के उपयोग और इस दिशा में तकनीक को अपनाने में हुई प्रगति पर, लोकसभा एवं राज्यसभा सचिवालय द्वारा प्रस्तुत ज्ञानवर्धक प्रस्तुतियों की सराहना की।
डेप्युटी स्पीकर की यह यात्रा लोकसभा अध्यक्ष की जनवरी 2025 में यूके यात्रा के बाद हो हुई है, जहाँ हाउस ऑफ कॉमन्स के स्पीकर के साथ विचार-विमर्श के दौरान भारतीय संसद में एआई के उपयोग पर भी विशेष रूप से चर्चा की गई थी।
इस अवसर पर राज्य सभा के महासचिव पीसी मोदी भी उपस्थित रहे।